उत्तराखंड में गजब : 2 महीने भी नहीं टिक पाई 32 लाख की पुलिया! चढ़ी घटिया निर्माण की भेंट
उत्तराखंड में अब तक कई मामले भ्रष्टाचार के सामने आ चुके हैं. कई बडे खुलासे हुए हैं जिसमे कई अधिकारियों का नाम शामिल होने पर उनको सजा दी गई है. लाखों करोड़ों की लागत की बात कहकर पुलिया-सड़के बनाई जा रही है लेकिन ये सड़कें और पुल बंदरबांट और भ्रष्टातार की भेंट चढ़ जा रहे हैं. इसके कई उदाहरण देखने को मिले हैं. मिली भगत के कारण कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है।
आज हम ये बात इसलिए कह रहे हैं क्योंकि मामला ही कुछ ऐसा सामने आया है. वहां के लोगों में रोष है और सीधे सवाल शासन और प्रशासन पर खड़े हो रहे हैं.बता दें कि मामला मोरी ब्लॉक के गोविंद वन्य जीव विहार पार्क क्षेत्र का है। जहां पार्क प्रशासन की ओर से बड़ासू पट्टी के चार गांव डाटमीर, गंगाड, पंवाणी, ओसला सहित पर्यटक स्थल हरकीदून को जाने के लिए शिया गाड पर आरसीसी की पैदल पुलिया का निर्माण किया था, जिसके निर्माण के लिए विभाग ने 32 लाख रुपये खर्च किए। लेकिन कार्य की घटिया गुणवत्ता व पार्क प्रशासन के अधिकारियों की लापरवाही के कारण यह पुलिया दो माह भी नहीं टिक पाई और बीते शनिवार को हुई बारिश में ही ध्वस्त हो गई। जिससे पार्क क्षेत्र के चार गांव के ग्रामीणों सहित पर्यटक स्थल हरकीदून को जाने वाले पर्यटकों की आवाजाही पूर्ण रूप से ठप हो गई। जिस पर स्थानीय ग्रामीणों ने पार्क प्रशासन की कार्य शैली पर सवाल खड़े किए हैं।