उत्तराखंड से बड़ी खबर : सरकार ने लिया बड़ा फैसला, एस्मा किया लागू, 6 महीने के लिए हड़ताल पर रोक
देहरादून : उत्तराखंड में आज सुबह से ही कई इलाकों की बिजली गुल हो गई। अभी भी कई इलाकों में बिजली गुल है और कई इलाकों में लुका छुपी का खेल जारी है। ऊर्जा के तीन निगमों के कर्मचारी पीछे हटने के मूड में नहीं हैं और इसलिए मध्यरात्रि से कर्मचारियों अधिकारियों ने मध्यरात्री को हड़ताल पर जाने का ऐलान किया था और वो गए भी। आज कई इलाकों की बिजली गुल है। उन्होंने बीते दिन सरकार से बात की लेकिन वार्ता विफल रही। वहीं आज फिर से ऊर्जा निगम के निदेशक दीपक रावत ने अधिकारियों कर्मचारियों से बात की लेकिन कार्मिकों द्वारा ना मानने पर सरकार ने भी बड़ा फैसला लिया और 6 महीने के लिए हड़ताल बैन कर दी है। सरकार के नियम के विरुद्ध अगर कोई कार्रवाई करते पाया गया तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। सचिव सौजन्यास ने इसका आदेश जारी कर दिया है।
सरकार सख्त, लगाया हड़ताल पर बैन
लेकिन बता दें कि सरकार और विभाग के बीच जनता पिस रही है। सरकार और विभाग के बीच की जंग का खामियाजा जनता को भुगतना पड़ रहा है। लाइट करने से कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। सरकार मांग मानने के मूड में नहीं है जबकि जब तक मांग पूरी नहीं होती तब तक कार्मिक भी मानने के मूड में नहीं है। अपनी 14 सूत्रीय मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं लेकिन सरकार भी आरपार के मूड में है। सरकार ने हड़ताल पर ही बैन लगा दिया है। सरकार ने 6 महीने के लिए राज्य में एस्मा लागू कर दिया है जिसके बाद कोई भी कर्मचारी हड़ताल नहीं कर पाएगा और ऐसा करने पर कार्रवाई की जाएगी।
ये है आदेश
सरकार ने उत्तर प्रदेश अत्यावश्यक सेवाओं का अनुरक्षण अधिनियम, 1966 (उत्तराखण्ड राज्य में यथा प्रवृत्त) (उत्तर प्रदेश अधिनियम संख्या 30 सन् 1966) की धारा 3 की उपधारा (1) के अधीन शक्ति का प्रयोग कर अगले 6 माह के लिए हड़ताल को प्रतिबंधित कर दिया है। सरकार की ओर से जारी अधिसूचना के अनुसार यूजेवीएन लिमिटेड, उत्तराखण्ड पावर कारपोरेशन लिमिटेड और पावर ट्रांसमिशन कारपोरेशन ऑफ उत्तराखण्ड लिमिटेड में समस्त श्रेणी की सेवाओं में तत्कालिक प्रभाव से हडताल निषिद्ध कर दी है। अधिनियम की धारा-3 की उपधारा (2) के अधीन यह भी आदेश देते हैं कि यह आदेश गजट में प्रकाशित किया जायेगा।